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अगर भारतीय वेदो, उपनिषदों और शास्त्रों को आज के मौजूद साधनो से शोधन करा जाए तो दुनिया की सभी समस्याएं हल हो सकती है. भारतीय मान्यताओं के अनुसार हर द्वापर के अंत में स्वयं भगवान् वेदव्यास जी ही उनकी रचना करते है जो की एक या दो कल्प की होती है.
इनमे तो आज के समय में घटित होने वाली घटनाओ, हो चके राजाओ, पिरो फकीरो धर्म गुरुओ के पूर्व जन्म तक लिखे है! ऐसे में आज की ज्वलंत समस्या का समाधान अगर उदारवादी तरीके से इनसे किया जाये तो ये दुनिया ही बदल जाएगी. आज सबसे बड़ी समस्या है धर्मो में द्वेष जो की 18 पुराणों में से एक भविष्य पुराण से हल हो सकती है.
इसमें अकबर के पूर्व जन्म का चरित्र है जो की एक ब्राह्मण था और एक पाप के चलते मल्लेछ राजा हो गया, मल्लेछ शास्त्रों में वर्णित एक तुच्छ जाती है जो की क्षुद्रो से भी निचे है. भारत से बाहर के सभी लोगो को इसमें मल्लेछ जाती का ही बताया गया है जो की कालांतर में दूसरे पंथ को मानने लगे.
जाने कुछ ऐसा जिसे जान उछल पड़ेंगे आप///
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